उत्तराखंड राज्य के देहरादून से एक नए नियम की खबर सामने आ रही है और यह नियम डॉग लवर और कुत्ता पालने की इच्छा रखने वालों से जुड़ी हुई है. क्योंकि अब से आपको अगर कुत्ता पालना है तो आपको अपने पड़ोसियों को खुश करना पड़ेगा. क्योंकि अगर कुत्तों को लेकर आपके पड़ोसी को किसी भी प्रकार की परेशानी हुई तो आपका डॉग लाइसेंस रद्द कर दिया जाएगा. अगर कुत्ता पालना है तो पड़ोसी की एनओसी लेना जरूरी है.
देहरादून नगर निगम ने कुत्ता पालने को लेकर कई सारे सख्त नियम जारी किए हैं. जिसके तहत अगर पड़ोसियों से एनओसी नहीं मिलती है तो डॉग लाइसेंस को रिन्यू नहीं करा जाएगा और नियम का उल्लंघन करने पर नगर निगम के द्वारा निर्धारित जुर्माना भी लगाया जाएगा. वहीं अब से डॉग लाइसेंस बनाने के लिए ₹500 देने होंगे. जिसके बाद हर साल यहां लाइसेंस रिन्यू कराना पड़ेगा और ऐसा ना किए जाने पर हर 3 महीने में ₹100 तक की लेट फीस देनी होगी.
अगर 3 महीने से अधिक की आयु के कुत्तों का अगर 6 महीने तक पंजीकरण नहीं कराया गया. तो ₹700 तक का जुर्माना देना पड़ सकता है. कुत्तों के गले में टोकन लगाना अनिवार्य होगा. ऐसा ना किए जाने पर नगर निगम उन कुत्तों को जप्त कर लेगा. प्राप्त हो रही जानकारी से पता चलता है कि उत्तराखंड की राजधानी देहरादून में लगभग 4000 पालतू कुत्ते हैं.
मगन नगर निगम में सिर्फ 37 कुत्तों का ही रजिस्ट्रेशन हुआ है. नगर निगम की ओर से कुत्तों के लाइसेंस शुल्क अधिनियम 2022 की नियमावली तो बनाई गई है. मगर इन नियमों को सख्ती से लागू नहीं किया गया है. हालत इतनी ज्यादा खराब है कि स्थानीय लोग अपने पालतू कुत्तों को खुले में शौच कराते हैं. इससे सड़कों, पार्क, खेल मैदान आदि में गंदगी फैल रही है और पड़ोस में रह रहे लोग भी बहुत ज्यादा परेशान है.
जिसके बाद अब नगर निगम के द्वारा डॉग लाइसेंस के लिए बनाई गई नियमावली को सख्ती से लागू करने की बात कही है. नगर स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. हर्ष पाल सिंह चंडोक ने कहा कि नियमावली लागू होने के बाद डॉग लाइसेंस को बनवाने के लिए शहर के कॉलोनी और सोसाइटी इसको भी नोटिस भेजे जाएंगे और जिसके भी द्वारा नियमावली का उल्लंघन किया जाएगा उससे ₹500 तक का जुर्माना शुल्क लिया जाएगा.