कोरोना वायरस ने किसी के सर से मां का साया छीना तो किसी के पिता को ही छीन लिया। ऐसे ही एक खबर यूपी के बलिया से आ रही है। जहां मां की कोरोना से मौत होने के कारण उसके 4 बच्चे अकेले हो गए। चारों बच्चों की उम्र 5 से 10 साल के बीच है। 3 साल पहले कैंसर के चलते उनके पिता संतोष पासवान की मौत हो गई थी। लेकिन अब कोरोना ने उनकी मां पूनम देवी को भी छीन लिया है। पूनम देवी की मौत 10 मई को हुई।
पूनम की सबसे बड़ी बेटी काजल (10) का कहना है कि वे चारों भाई बहन अब भगवान के भरोसे हैं। उसके 3 छोटे भाई बहन और है जिनका नाम रूबी, रेनू, अंकुश है। मां की कोरोना से मौत होने के कारण मासूम काजल के उपर अपने तीनों भाई बहन के देखभाल की जिम्मेदारी आ गई है। चारों भाई बहन बलिया के बैरिया तसहील के डालनछपरा गांव में अपनी माता के साथ रहते थे।
स्थानीय लोगों ने बताया कि उनकी दो बड़ी बहन और है। दोनों की शादी हो चुकी है। लेकिन उनकी घर की स्थिति भी ऐसे नहीं है कि वे इन चारों की देखभाल कर सकें। 7 साल के अंकुश ने ही अपनी मां का अंतिम संस्कार किया। उसने कहा कि वह पढ़ना चाहता है और आगे जाकर पुलिस में भर्ती होना चाहता है। READ ALSO: DRDO recruitment 2021: DRDO में आई भर्ती, सैलरी 31,000 रुपए महीने, ये रही आवेदन की डायरेक्ट लिंक..
सोमवार को सूचना विभाग की तरफ से एक बयान जारी किया गया जिसमें उन्होंने कहा कि बच्चों का ख्याल इस समय उनकी दादी फुलेश्वरी देवी रख रही है। फुलेश्वरी देवी ने कहा कि वह बच्चों को शेल्टर होम भेजना चाहती है। इसके बाद बैरिया के एसडीएम प्रशांत नायक ने कहा कि अगर बच्चों के पालन पोषण के लिए परिवार का कोई भी सदस्य यदि आगे आता है। तो बच्चों के 18 वर्ष होने तक परिवार की मदद की जाएगी। साथ में बीपीएल कैटेगरी का सर्टिफिकेट भी बनवाया जाएगा ताकि उन्हें अन्तोदय योजना का लाभ मिल सके।