CM योगी ने रामगोविंद को दी काले गाजर का हलवा खाने की सलाह…

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CM Yogi advised Ramgovind to eat black carrot pudding

लखनऊ:- सोमवार को उत्तर प्रदेश विधानसभा उपाध्यक्ष का चुनाव खत्म हुए। वही भाजपा समर्थित सपा के बागी विधायक नितिन अग्रवाल को 304 वोट मिले और वह डिप्टी स्पीकर बने। दूसरी ओर नरेंद्र वर्मा को सिर्फ 60 वोट मिले। यूपी विधानसभा का अधिवेशन बुलाया गया और यह चुनाव कुछ 6 घंटे तक चला। वही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने समाजवादी पार्टी पर जमकर वार किया।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने सदन में मारे ताने
उन्होंने कहा कि समजवादी पार्टी किसी युवा और योग्य उम्मीदवार को उपाध्यक्ष पद के लिए लाएगी उसके हमे साढ़े चार साल से इंतज़ार था। लेकिन जब विधानसभा के चुनाव में 6 महीने रहे गए तो ये काम हमने ही पूरा किया। वही उन्होंने सदन में नेता रामगोविंद चौधरी को विश्वास करने वाला बताया, लेकिन ये दलीय अन्तविरोधी को झेलने की ताकत नही रखते।

रामगोविंद चौधरी को दी गई काले गाजर का हलवा खाने की सलाह
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि कुछ समय पहले सदन में रामगोविंद जी ने अनायास के लिए लड़ाई की थी। उन्होंने हंसी ठिठोली करते हुए नेता विरोधी दल से कहा कि आप हमसे उम्र में बड़े है, हमे आपके स्वास्थ्य की चिंता है। इसलिए मैंने आपको बलिया के काले गाजर का हलवा खाना चाहिए।

विरोध पक्ष हारने के बाद धांधली का आरोप लगाते है
रामगोविंद चौधरी ने विधानसभा उपाध्यक्ष पर आरोप लगाया। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि डिप्टी स्पीकर का चुनाव अच्छे से हो गया। मुख्य विपक्षी दल की हमेशा से आदत है कि वह जब हार चुनाव हार जाता है तो धांधली पर आरोप लगा देते है। यहाँ पर कोई ईवीएम नही थी। योगी जी ने कहा कि 2022 विधानसभा चुनाव के रिजल्ट भी डिप्टी स्पीकर के इस चुनाव की तरह रहेंगें।

मुख्यमंत्री योगी जी ने कहा कि साढ़े चार साल में इस सदन ने कई कीर्तिमान स्थापित किए है। वही सपा ने हमेशा संवाद को हराने की कोशिश की है। उन्होंने नितिन अग्रवाल को चुनाव जीतने की बधाई दी और नरेंद्र वर्मा के प्रति सहानुभूति जताते हुए चुटकी भी ली। नितिन अग्रवाल सपा के सदस्य है। सपा ने एक बार फिर बता दिया कि युवा विरोधी और परिवारवादी पार्टी है।

सपा ने किया नरेंद्र वर्मा के साथ धोखा
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि नरेंद्र सिंह वर्मा के लिए हमे सहानुभूति है। वह अच्छे व्यक्ति और सदस्य है। वह अपनी बात को अच्छे से सदन के सामने रखते है। लेकिन अगर सपा ने तीन- चार पहले उनका नाम दिया होता तो उनके साथ आज धोखा नही होता। विधानसभा उपाध्यक्ष के चुनाव का रिजल्ट क्या होगा इसके बावजूद भी सपा ने नितिन वर्मा को जबरदस्ती उम्मीदवार बनाया, उनकी एनर्जी को बर्बाद किया।

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