आज भी उत्तराखंड के पर्वतीय क्षेत्रों में अस्पतालों की सुख सुविधाएं नहीं है।यदि कहीं अस्पताल होंगे तो वहां की हालत खराब है।इससे कई लोगों की जान खतरे में पड़ती है और कभी कभी तो लोग काम गवा बैठते है।
आज की खबर भी रुद्रप्रयाग से आ रही है यहां अत्याधिक रक्तस्राव से एक गर्भवती महिला की मृत्यु हो गई है। अब इस मामले की जांच के आदेश जिलाधिकारी द्वारा दिए गए है।उक्रांद नेता मोहित डिमरी द्वारा जिलाधिकारी और मुख्य चिकित्साधिकारी से मुलाकात की गई।
घटना रुद्रप्रयाग जिले के विकासखंड जखोली के किमाणा-दानकोट गांव की है यहां एक 28 वर्षीय महिला ज्योति को प्रसव पीड़ा शुरू हुई तो परिजन महिला को जिला चिकित्सालय ले गए और उसे वहां भर्ती कराया। महिला की गंभीर हालत देख अगले दिन उसे मेडिकल कॉलेज श्रीनगर रेफर कर दिया गया। वहां महिला की मृत्यु हो गई।
गर्भाशय फटने से महिला की मृत्यु हुई।इस घटना के बाद अब स्थानीय जनता उच्च स्तरीय जांच की मांग में जुटी थी इस विषय में चर्चा के लिए क्रांति दल द्वारा जिलाधिकारी और मुख्य चिकित्साधिकारी से मुलाकात की जिसके बाद उक्रांद के प्रवक्ता मोहित डिमरी द्वारा कहा गया कि जिले में एक स्त्री रोग विशेषज्ञ भी नहीं है। इससे पहले भी जिला चिकित्सालय में कई महिलाओं की मृत्यु हुई है।
इस वजह से अस्पताल की छवि खराब हो रही है।इसके बाद उन्होंने आगे यह भी कहा कि उक्रांद ने भी महिला की मृत्यु के उच्च स्तरीय जांच की मांग भी की है यदि पीड़ित पक्ष को न्याय नहीं मिला तो उक्रांद आंदोलन के लिए बाध्य होगा।
वहीं इसके बाद मुख्य चिकित्साधिकारी की अध्यक्षता में एक जांच कमेटी बनाई गई।इस मामले की रिपोर्ट दो दिनों के अंदर कमेटी को सौंपनी होगी।यह सारी जानकारी जिलाधिकारी और मुख्य चिकित्साधिकारी द्वारा दी गई।इस बात का आश्वासन मिलने पर ही प्रदर्शन स्थगित हुआ।साथ ही उन्होंने जल्द ही पीड़ित पक्ष को जल्द न्याय देने की चेतावनी भी दी है।