कोरोना ने पहली लहर में बुजुर्ग, दूसरी लहर में युवाओं और तीसरी लहर में अब बच्चों को निशाना बनाना शुरू कर दिया है। बीते 15 दिनों में पहाड़ी राज्य उत्तराखंड में कोरोना से 1700 बच्चे संक्रमित पाये गये हैं। अब राज्य में 5151 बच्चे कोरोना की चपेट में आ चुके हैं। लेकिन अब यह आंकड़ा और तेजी से बढ़ रहा है। कोरोना के लिहाज से मई का यह महीना काफी बेकार रहा है। इस महीने में कोरोना संक्रमण में एक ओर जहां काफी बढ़ोतरी हुई है तो वहीं दूसरी ओर मौतों का आंकड़ा भी तेजी से बढ़ा है।
चिंताजनक बात यह है कि कोरोना ने अब बच्चों को भी अपना शिकार बनाना शुरू कर दिया है। मई के आधे महीने में 9 वर्ष की आयु तक के 1700 बच्चे कोरोना से संक्रमित हुए हैं। तो वहीं 11 से 19 वर्ष की आयु के 7104 कोरोना मरीज सामने आए हैं। जबकि 20 से 29 वर्ष के 21545 मामले और 30 से 39 वर्ष के 25626 नये मरीज सामने आए हैं। बच्चों के लिए हालात बिगड़ते जा रहे हैं।
एक्सपर्ट्स के अनुसार वायरस की तीसरी लहर में बच्चों पर इसका सबसे ज्यादा प्रभाव पड़ेगा। बच्चों को और ज्यादा सावधान रहने की जरूरत है। अच्छी बात यह है कि बच्चों की सुरक्षा को लेकर सरकार भी गंभीर है। उत्तरकाशी, चमोली, बागेश्वर और चंपावत जिले में स्वास्थ्य विभाग की ओर से फेब्रिकेटेड कोविड अस्पताल बनाये जाएंगे। चारों जिलों के डीएम से अस्पताल बनाने के लिए प्रस्ताव मांगा गया है।
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