आपको बता दें कि एक तरफ़ तो सरकार शहीदों का सम्मान करती है वहीं दूसरी ओर उनके परिजनों का अपमान किया जाता है। एक ऐसा ही मामला पिथौरागढ़ ज़िले के बेरीनाग से सामने आया है। जहाँ प्रशासन द्वारा भवन निर्माण नहीं कराने के विरोध में शहीद की पत्नी ने तीन घंटे तक धरना दिया। शहीद स्मारक पर धरने पर बैठे धना डांगी ने आरोप लगाया कि बेरीनाग प्रशासन भवन निर्माण की अनुमति नहीं दे रहा है। भवन निर्माण के लिए शासन से लेकर प्रशासन तक गुहार लगाई गई है, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही है।
आपको बता दें कि कश्मीर में ऑपरेशन रक्षक के दौरान नरेंद्र सिंह शहीद हो गए थे। उनकी पत्नी ने प्रशासन पर आरोप लगाते हुए कहा कि एक तरफ़ तो उस सरकार शहीदों के सम्मान यात्रा निकलती है वहीं दूसरी ओर उनके परिजनों को भवन निर्माण से रोका जाता है। यह अपमान मेरा नहीं बल्कि मेरे शहीद पति का भी अपमान हो रहा है। साथ ही 24 अक्टूबर को उन्होंने पिथौरागढ़ में ही केन्द्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के सामने विरोध दर्ज करने की भी बात कही थी। साथ ही उनका कहना है कि जब तक भवन निर्माण का कार्य शुरू नहीं होगा तब तक वह धरने पर ही बैठी रहेगी।
इस घटना की सूचना प्राप्त होने के बाद थानाअध्यक्ष प्रताप नेगी मौक़े पर पहुँचे। साथ ही उन्होंने धना डांगी को उच्च अधिकारियों के सामने अपनी बात रखने को कहा। इसी बीच तहसीलदार हिमांशु जोशी का कहना है कि बेरीनाग और चौकोड़ी में उच्च न्यायालय द्वारा निर्माण पर रोक लगायी गई है। इसी बीच उच्च न्यायालय के आदेशों का पालन किया जा रहा है यह सब के निर्माण पर रोक लगायी गई है।
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