हैवानियत की एक ऐसी कहानी जैसे सुनकर आपकी रूह कांप उठेगी. जी हां जहां एक पिता ने ही अपनी दो मासूम बच्चियों की जान ले ली. अपने बच्चों की हत्या करने वाले आरोपी को 12 घंटे के अंदर ही पुलिस ने गिरफ्त में ले लिया. आरोपी को लखनऊ रेलवे स्टेशन पर गिरफ्तार कर लिया गया. आरोपी वहां से बिहार भागने की फिराक में था. गिरफ्तार होने के बाद पुलिस टीम आरोपी को देहरादून वापस लेकर आ रही है. कोतवाली प्रभारी निरीक्षक राजेश शाह के अनुसार आरोपी जितेंद्र साहनी जो की केशवपुरी बस्ती डोईवाला निवासी है,अपनी दोनों बच्चियों को मौत के घाट उतार कर भाग रहा था.वह भाग कर बिहार जाने वाला था .जिसके बाद पता चला कि आरोपित डोईवाला रेलवे स्टेशन से जनता एक्सप्रेस ट्रेन से बिहार के लिए रवाना हुआ है.
उसकी अंतिम लोकेशन रेलवे स्टेशन के पास बताई. गई. जानकारी प्राप्त होते ही पुलिस दो टीम बनाकर वहां से रवाना हो गई और आरोपी जितेंद्र साहनी को ट्रेन से उतरने के दौरान लखनऊ स्टेशन पर पकड़ लिया गया. अब आरोपी को देहरादून वापस लाया जा रहा है. दूसरी और मृतक बच्चियों का पोस्टमार्टम करके उनके शवों को उनके स्वजनों को सौंप दिया गया है. उसके बाद दोनों बच्चियों के शवों को सौंग नदी में दफना दिया गया है.
वरिष्ठ उपनिरीक्षक राजेश शाह ने बताया कि पहली पत्नी के भाग जाने के बाद जितेंद्र साहनी को अपनी बेटियों की वजह से दूसरी शादी करने में दिक्कत आ रही थी इसलिए उसने उन दोनों बच्चियों का गला दबाकर उनकी हत्या कर दी. मृतक बच्चियों के नाना जिनका नाम अशोक है उन बच्चों का अंतिम संस्कार करते हुए बेहद ही भावुक हो गए. उन्होंने कहा कि मुकदमा तीनों लोगों पर दर्ज होना चाहिए जिसमें बच्चियों की मां उसके पिता और उसकी मां को भगाने वाला व्यक्ति शामिल है. उनके अनुसार इन्हीं लोगों की वजह से बच्चियों की जान गई है. उन्होंने अपनी बेटी को भी दोषी ठहराया क्योंकि वह तीसरी बार घर से भागी है.
मृतक बच्चियों की मौसी ने बताया कि उसकी बहन को फोन करके 3 दिन का अल्टीमेटम दिया गया था कि वह 3 दिन के भीतर इन बच्चियों को अपने साथ ले जाए. उसने बताया कि इससे पहले कि वह उन्हें लेने जाती उनके पिता ने पहले ही उनकी गला घोंटकर हत्या कर दी. बीते शुक्रवार काफी रात होने पर केशवपुरी में कबाड़ बीनने वाले जितेंद्र साहनी ने अपनी पहली पत्नी के भाग जाने के बाद दूसरी शादी में अड़चन बन रही बेटी तीन वर्षीय आंचल और डेढ़ वर्षीय अनुषा की गला दबाकर हत्या कर दी.
शुक्रवार रात 8:30 बजे जब उनकी दादी अपने काम से घर लौटी तो उन्हें इस घटना के बारे में पता चला और उन्होंने तुरंत पुलिस इस घटना की सूचना दी. जब बच्चियों की मां के पास दोनों मासूमों की मृत्यु के सूचना पहुंची तो भी उस कठोर मां का दिल नहीं पिघला. वह उनके अंतिम संस्कार में भी सम्मिलित नहीं हुई. दोनों बच्चियों का अंतिम संस्कार उनके नाना,नानी ,मौसी और दादी के द्वारा किया गया.