कानपुर: उत्तरप्रदेश राज्य के 8 पुलिस कर्मियों की हत्या करवाने वाले खतरनाक क्रिमिनल विकास दुबे को शुक्रवार सुबह कानपुर शहर में मौत के घाट उतार दिया गया। विकास दुबे की पत्नी और बेटी ऋचा दुबे ओर नाबालिक बेटे को पुलिस ने रिहा कर दिया है जबकि उसका नौकर अभी भी पुलिस की गिरफ्त में है जिस से अभी भी पूछताछ जारी है कानपुर के SP दिनेश प्रभु ने बताया कि की बेटी ऋचा का शूट आउट में कोई किरदार नहीं था।
विकास दुबे को उज्जैन के महाकाल मंदिर से 9 बजे में दबोचा गया। डर के कारण वह चिल्ला रहा था कि मैं कानपुर वाला विकाश दुबे हूं। पुलिस के थाने ले जाने के बाद दुबे से 2 घण्टे तक पूछताछ की गई। बता दें कि उसके बेटे, पत्नी और बेटी ऋचा को लखनऊ में गिरफ्तार किया गया लेकिन आज दोपहर 12.30 बजे उनको रिहा कर दिया गया|यह भी पड़े:पिछले एक महीने से लापता है ये नौसेना का जवान,4जून को पर्शिया की खाड़ी डूबा था जहाज़
2 जुलाई को बिकास दुबे को पकड़ने के लिए बिकरु गांव में दबिश की गई जिसमें 8 पुलिस कर्मी मारे गए। इसके बाद पुलिस ने 3 जुलाई सुबह 7 बजे विकाश के मामा प्रेम प्रकाश और सहयोगी अतुल दुबे का एनकाउंटर कर दिया
5 जुलाई को पुलिस ने विकास के नौकर औऱ खास पार्टनर दयाशंकर को दबोच लिया।
6 जुलाई को पुलिस ने अमर की माँ क्षमा दुबे और प्रेमप्रकाश की पत्नी रेखा को इसलिए गिरफ्तार कर लिया क्योंकि इन्होंने शूटआउट के समय पुलिस की मदद न करके उल्टा बदमाशों को पुलिसकर्मियों की लोकेशन बता दी जिसके बाद 8 पुलिस वाले मारे गए। रेखा भी बदमाशों की मदद कर रही थी। 8 जुलाई को stp की टीम ने अमर दुबे को मार डाला जबकि 11 बदमाशों को हिरासत में ले लिया। साथ ही 10 जुलाई को विकाश दुबे को भी ढेर कर लिया गया।